20 April, 2019

मृत्यु (कविता) - डॉ शरद सिंह

Mrityu  (Kavita) ... Poetry on Death by  Dr (Miss) Sharad Singh

मृत्यु
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अग्नि में जला दिया जाना
या सुला दिया जाना दो गज ज़मीन के नीचे
अनुष्ठान है देह की मृत्यु का
वहीं, बच रहना विचारों का
होना प्रवाहित
पीढ़ी-दर-पीढ़ी
प्रतीक है अमरता का
वाचिक हो या मसि-कागद जीवी
रहता है जीवित विचारों में ढल कर
अंत और अनंत से परे
उस अथाह की तरह
जिस पर अवस्थित है यह पूरा ब्रह्माण्ड।
 - डॉ शरद सिंह

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